दुनिया को जोड़ने और भारत का मान बढ़ाने में योग मददगार : प्रधानमंत्री
देहरादून, 21 जून (हि.स.)। चौथे अन्तरराष्ट्रीय योग दिवस पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि इस साल का मुख्य कार्यक्रम जहां हो रहा है, हिमालय में बसा उत्तराखंड अनेक दशकों तक योग का मुख्य केन्द्र रहा है। यहां के ये पर्वत स्वत: ही योग और आयुर्वेद के लिए प्रेरित करते हैं।
अन्तरराष्ट्रीय योग दिवस पर प्रधानमंत्री ने पिछले 4 साल में आई योग-क्रांति की चर्चा करते हुए कहा कि आज देहरादून से लेकर डबलिन तक, शंघाई से लेकर शिकागो तक, जकार्ता से लेकर जोहानिसबर्ग तक, योग ही योग हो रहा होगा। हिमालय की बर्फ से ढंकी हजारों फीट ऊंची चोटियां हों या फिर धूप से तपता रेगिस्तान, योग हर परिस्थिति में, हर जीवन को समृद्ध कर रहा है।
योग के महत्व को समझाते हुए प्रधानमंत्री ने कहा यह जोड़ने का काम करता है। आज की आपाधापी और तेज भागती जिन्दगी में योग मन, शरीर और बुद्धि आत्मा को जोड़कर व्यक्ति के जीवन में शांति लाता है। व्यक्ति को परिवार से जोड़कर परिवार में खुशहाली लाता है। परिवारों को समाज के प्रति संवेदनशील बनाकर समाज में सद्भावना लाता है। प्रधानमंत्री ने कहा कि समाज राष्ट्र की एकता के सूत्र बनते हैं। यानी योग व्यक्ति-परिवार-समाज-देश-विश्व और सम्पूर्ण मानवता को जोड़ता है।
प्रधानमंत्री ने योग दिवस मनाए जाने की पृष्ठभूमि की याद दिलाते हुए कहा कि जब उन्होंने संयुक्त राष्ट्र में योग दिवस के लिए प्रस्ताव रखा, तो यह कीर्तिमान बना कि इस प्रस्ताव के विश्व के सर्वाधिक देश सह प्रस्तावक बने। इतना ही नहीं, यह पहला ऐसा प्रस्ताव है जो संयुक्त राष्ट्र में सर्वाधिक कम समय में पारित हुआ। यह भारत की विश्व को देन है कि आज विश्व का हर नागरिक, विश्व का हर देश योग को अपना मानने लगा है। हमारे लिए यह एक बहुत बड़ा संदेश है कि हम उस महान विरासत के धनी हैं| हम उन महान परम्परा की विरासत को संजोये हुए हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि हम अपनी ऐसी महान विरासत पर अगर गर्व करेंगे तो दुनिया में गर्व करने में कभी भी हिचकिचाहट नहीं अनुभव करेंगे। लेकिन अगर हमें हमारी शक्ति, सामर्थ्य के प्रति भरोसा नहीं होगा, तो कोई इसे स्वीकार नहीं करेगा। आज योग ने सिद्ध कर दिया है कि जैसे हिन्दुस्तान ने फिर से एक बार योग के सामर्थ्य के साथ अपने को जोड़ दिया, दुनिया अपने आप जुड़ने लग गई। योग आज दुनिया को जोड़ने वाली सबसे शक्तिशाली ताकतों में से एक है। श्री मोदी ने कहा कि आज पूरी दुनिया में योग करने वालों के आंकड़े जुटाए जाएं तो अद्भुत तथ्य विश्व के सामने आएंगे।
श्री मोदी ने कहा कि योग ने दुनिया को बीमारी से समृद्धि का रास्ता दिखाया है। यही वजह है कि दुनियाभर में योग की स्वीकार्यता इतनी तेजी से बढ़ रही है। यदि हम आसन और प्राणायाम का नियमित अभ्यास करते हैं तो हम अच्छे स्वास्थ्य के साथ-साथ अनेक रोगों से अपना बचाव भी कर सकते हैं। नियमित योग का सीधा प्रभाव किसी भी परिवार के चिकित्सा खर्चों पर पड़ता है। राष्ट्र निर्माण की हर प्रक्रिया से, हर गतिविधि से जुड़ने के लिए हम सभी का स्वस्थ रहना आवश्यक है और निश्चित तौर पर इसमें योग की भी बड़ी भूमिका है। प्रधानमंत्री ने लोगों से आग्रह किया कि वे योग के साथ जुड़े हैं, इसमें नियमितता लाएं और जो अब भी योग से नहीं जुड़ पाएं हैं, वो एक बार प्रयास जरूर करें।