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‘देश गंदा है तो आप क्या मेहमान हैं…’ – कंगना रनौत

पटना, सनाउल हक़ चंचल

यह कहना बहुत आसान है कि देश में यह खराबी है, देश में यह अच्छा नहीं है

पटना। कंगना रनौत अपनी बेबाकी के लिए जानी जाती है – यह लाइन कोई नई तो नहीं है। लेकिन नई बात यह है कि उनकी बेबाकी सिर्फ बॉलीवुड तक ही सीमित नहीं है।  प्यार, इश्क, दोस्ती, दुश्मनी से बात शुरू होते हुए देश – दुनिया तक पहुंच गई। बातचीत में कंगना ने बहुत ही साफ तरीके से कहा कि किस तरह भारत को बेहतर बनाने के लिए नागरिकों को आगे आने की जरूरत है।

कंगना का मानना है कि यह कहना बहुत आसान है कि देश में यह खराबी है, देश में यह अच्छा नहीं है। शायद इसकी वजह बहुत हद तक हमारी खुद को दूसरों से कम समझने की आदत है। लेकिन सवाल यह है कि हम अपने देश के लिए क्या कर रहे हैं। अपने निजी अनुभव बताते हुए कंगना कहती हैं कि ‘जब मैं मनाली जाती हूं तो रन करने के दौरान देखती हूं कि कितने पर्यटक कचरा सड़क पर फेंकते हैं और मैं खुद जाकर उसे अपनी जेब में इकट्ठा करती हूं।’

अपनी बात को पूरा करते हुए कंगना कहती हैं ‘लोग पानी की टंकी भर देते हैं और बंद करना भूल जाते हैं। मैं ओवरफ्लो टंकी को जाकर बंद करके आती हूं। यह रवैया सही नहीं है। देश गंदा है तो आप क्या हैं, मेहमान हैं क्या। करिये साफ। और अगर नहीं कर सकते तो जाइए उस देश में जहां सफाई रहती है। जब इमिग्रेशन पर थप्पड़ पड़ेंगे तो वापस भेज देंगे।’

कंगना ने साथ ही यह भी कहा कि ‘दूसरे देश के गुणगान गाने से कुछ नहीं होने वाला लेकिन यह समझना जरूरी है कि मैं उतनी ही अच्छी हो सकती हूं जितना कि मेरा देश। अगर मैं अपने देश को, नागरिकों को आगे लेकर जाऊंगी तभी मैं भी आगे बढ़ पाऊंगी। और तब जब मैं बाहर जाऊंगी, लोग कहेंगे यह भारतीय है, वही मेरी पहचान होगी। उसके बाद मुझे किसी और पहचान की जरूरत नहीं होगी।’

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