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माले बंदरगाह पर 12 घंटे फंसे रहने वाले यात्रियों के स्वदेश आते ही चेहरे खिले

नई दिल्ली ​​। भयंकर तूफान और बारिश के बीच 12 घंटे फंसे रहने के बाद शनिवार को सुबह माले से 588 भारतीय नागरिकों को लेकर रवाना हुआ​नौसेना का युद्धपोत आईएनएस जलाश्व रविवार को कोच्चि पहुंच गया।​ बंदरगाह पर उतरे यात्रियों के चहरे पर मुस्कान और हाव-भाव भारत आने की ​खुशी व्यक्त कर रहे थे​।​जहाज से बाहर आने पर सभी यात्रियों का नौसेना कर्मियों ने गर्मजोशी से स्वागत किया​।

नौसेना ​के ​​युद्धपोत ​​आईएनएस जलाश्व ​ने रविवार सुबह 11 कोच्चि बंदरगाह में प्रवेश किया​।​ समुद्र की लहरों को चीरते हुए जब युद्धपोत ने बंदरगाह की सीमा में प्रवेश किया तो ​दक्षिणी नौसेना कमान​ के तीन जहाजों ​ने बधाई दी जो निगरानी मिशन को पूरा कर रहे थे। ​भारतीयों को माले से भारत वापस लाने के लिए केंद्र सरकार द्वारा तैयार मानक संचालन प्रक्रिया ​के सभी संभावित आकस्मिकताओं को दूर किया गया था। चालक दल के लिए​​ अलगाव और संगरोध प्रोटोकॉल के साथ जहाज पर संक्रमण नियंत्रण के लिए सभी सावधानि​​यां सुनिश्चित की गईं​।

समुद्र के क्रूज टर्मिनल पर राज्य सरकार, जिला प्रशासन और पोर्ट ट्रस्ट के अधिकारियों ​ने जहाज ​का स्वागत किया । यहां पहले से ही सभी अनिवार्य स्वास्थ्य और आव्रजन प्रक्रियाओं की​ व्यवस्था कर रखी थी​।​ यात्रियों को जहाज से शीघ्र उतारने, स्वास्थ्य जांच, आव्रजन और परिवहन की व्यापक व्यवस्था की ​गई ​थी। ​इसके बाद यात्रियों को जहाज से उतारने की प्रक्रिया शुरू की गई।​ नौसैनिक तालियां बजाते हुए यात्रियों के साथ-साथ जहाज के बाहर क्रूज टर्मिनल तक आये और टर्मिनल पर खड़े नौसैनिकों ने ​भी तालियां बजाकर यात्रियों का स्वागत किया​। ​जहाज से बाहर आते ही सभी यात्रियों के सामान (लगेज)​ को सेनेटाइज किया गया​।​ जहाज से उतारने में महिलाओं और बच्चों को प्राथमिकता दी गई​।​ कई बुजुर्ग यात्रियों को सहायता के रूप में व्हील चेयर उपलब्ध कराई गई​।​ इसके बाद यात्रियों को​ दोपहर का भोजन और पानी दिया गया​। इसके बाद एक-एक करके यात्रियों को पोर्ट से बाहर निकाला गया​।

पर्यटक स्थल मालदीव में फंसे भारतीयों को​ शुक्रवार की शाम को ही माले बंदरगाह पर ​युद्धपोत ​​आईएनएस जलाश्व​ पर सवार कर​ दिया गया था ​लेकिन ​तेज हवाओं की वजह से ​बेहद खराब​ मौसम की वजह से करीब 12 घंटे तक ​जहाज माले बंदरगाह पर ​ही ​खड़ा रहा। शुक्रवार शाम को खराब मौसम की वजह से रोका गया जहाज रात भर अनुकूल वेदर होने का इंतजार करता रहा लेकिन जहाज पर सवार 588 भारतीयों (6 गर्भवती महिलाएं और बच्चों) की सुरक्षा को देखते हुए जहाज ​को रवाना नहीं किया गया। करीब 12 इंतजार करने के बाद अनुकूल मौसम होने पर ​शनिवार सुबह​ 6 बजे जहाज माले से रवाना हो सका​ था​।

पहले चरण में इससे पहले आईएनएस जलाश्व ने 10 मई को 698 भारतीय नागरिकों को माले से सुरक्षित निकालकर कोच्चि पहुंचाया था। आईएनएस मगर भी 202 नागरिकों को माले से कोच्चि वापस ला चुका है। ​आज भारत पहुंचे 588 भारतीयों को मिलाकर भारतीय नौसेना अब तक ​1488 ​भारतीय नागरिकों को माले से निकालकर भारत वापस ला ​​चुकी है। यह 1488 भारतीय 22 राज्यों से सम्बंधित हैं जिसमें 205 महिलाएं (133 गर्भवती) और 38 बच्चे शामिल हैं।इनमें सबसे ज्यादा 1101 नागरिक केरल से हैं। तमिलनाडु से 283, आंध्र प्रदेश से 10, पश्चिम बंगाल से 12, उत्तराखंड के 9, तेलंगाना के 12, कर्नाटक के 10, लक्षदीप के 7, दिल्ली-झारखण्ड के 6-6, हिमाचल-महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश के 5-5, राजस्थान के 4, हरियाणा के 3, मध्य प्रदेश-ओडिशा-पुद्दुचेरी के 2-2 यात्री हैं। इसके अलावा असम, चंडीगढ़, गोवा, पंजाब के एक-एक यात्री हैं।

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