कोरोना टेस्ट टाले जाने के कारण वास्तविक स्थिति का नहीं चल रहा पता-अखिलेश
लखनऊ। प्रदेश में कोरोना जांच की संख्या में रिकार्ड इजाफा होने के बावजूद समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कोरोना टेस्ट टालने का आरोप लगाते हुए कहा कि इसकी वजह से वास्तविक स्थिति का पता नहीं चल पा रहा है।
अखिलेश यादव ने मंगलवार को ट्वीट किया कि उप्र इस समय कोरोना के साथ-साथ कानून-व्यवस्था की भी बिगड़ी हालत का शिकार है। जिस प्रकार ‘कोरोना-टेस्ट’ टाले जा रहे हैं, उसके कारण वास्तविक स्थिति का पता नहीं चल रहा है और ‘कोरोना-पीक’ कब आएगा कहा नहीं जा सकता। उन्होंने कहा कि तो फिर सरकार बताए कि ‘कोरोना-पीक’ से लड़ने की तैयारी वो कैसे करेगी।
हालांकि प्रदेश में प्रतिदिन होने वाली कोरोना नमूनों की जांच की संख्या अब 22 हजार पार कर चुकी है। अपर मुख्य सचिव, स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद के मुताबिक प्रदेश में पहली बार प्रतिदिन होने वाली कोरोना नमूनों की जांच की संख्या 22 हजार पार कर गई। रविवार को सर्वाधिक 22,378 नमूनों की जांच की गई। इस तरह राज्य में कोरोना जांच को लेकर एक बार फिर नया बेंच मार्क स्थापित किया गया है।
उन्होंने बताया कि अब इसे प्रतिदिन 25,000 करने का लक्ष्य है। प्रदेश में अब तक प्रदेश में कुल सात लाख से अधिक कोरोना नमूनों की जांच हो चुकी है। इस समय प्रदेश में 25 सरकारी तथा 17 निजी प्रयोगशालाएं टेस्टिंग कार्य के लिए उपलब्ध हैं।
वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने टेस्टिंग क्षमता में लगातार वृद्धि के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने के लिए विभिन्न संस्थानों में उपलब्ध संसाधनों का पूरा उपयोग किया जाए। ट्रूनेट मशीनों तथा रैपिड एन्टीजेन टेस्ट मशीनों को पूरी क्षमता से संचालित करते हुए ज्यादा से ज्यादा टेस्ट किए जाएं। संक्रमण पर नियंत्रण के लिए निजी चिकित्सालयों में ट्रूनेट मशीनों के प्रयोग के बढ़ावा दिया जाए। (एजेंसी, हि.स.)