नई दिल्ली : 10 jan = जम्मू कश्मीर में भारत-पाकिस्तान सीमा पर तैनात बीएसएफ के तेज बहादुर यादव नामक जवान ने आरोप लगाया है कि सैनिकों को बर्बरता का सामना करना पड़ता है क्योंकि उन्हें खराब गुणवत्ता का भोजन परोसा जाता है और कई बार तो भूखे भी रहना पड़ता है। इस मामले के सामने आने के बाद केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने उचित कार्रवाई का आदेश दिया है और रिपोर्ट मांगी है। वहीं, बीएसएफ ने मामले की जांच शुरू कर दी है।
सरकार के खिलाफ आरोप नहीं लगाना चाहता- तेज बहादुर यादव
जवान ने यह भी दावा किया है कि वो किसी सरकार के खिलाफ आरोप नहीं लगाना चाहता क्योंकि सरकार हर चीज और हर सामान हमें देती है लेकिन वरिष्ठ अधिकारी सब बेचकर खा जाते हैं और हमें कुछ नहीं मिल पाता। कई बार तो हमें भूखे पेट सोना पड़ता है। हमें नाश्ते में एक पराठा और चाय मिलती जिसके साथ अचार होता है। दोपहर में खाने के लिए दाल में सिर्फ हल्दी और नमक होता है और जली हुई रोटियां। इसकी जांच होनी चाहिए। मैं पीएम से कहना चाहता हूं कि इसकी जांच कराए। शायद वीडियो डालने के बाद मैं रहूं ना रहूं क्योंकि अधिकारियों के बड़े हाथ हैं और वो कुछ भी कर सकते हैं।
वीडियो सामने आने के बाद गृहमंत्री ने गृह सचिव को आदेश दिए हैं कि वो बीएसएफ से रिपोर्ट तलब कर जरूरी कार्रवाई करे। वहीं एक डीआईजी स्तर के अधिकारी को जम्मू भी भेजा गया है जहां यह जवान तैनात हैं। वीडियो को लेकर बीएसएफ ने सफाई में कहा है कि हम अपने जवानों की जरूरतों का पूरा ध्यान रखते हुए उन्हें पूरा करने के लिए तत्पर रहते हैं। अगर किसी को कोई परेशानी हुई है तो इसकी जांच होगी। सोशल मीडिया पर अपने संदेश को डालते हुए तेज बहादुर ने अपील की है कि उसके दर्द को देश समझे।
BSF जवान तेज बहादुर यादव के ऊपर भी कई सनसनी खेज आरोप .
दूसरी ओर, खुद वीडियो बनाने वाले जवान तेज बहादुर यादव के जीवन को लेकर भी कई सनसनीखेज जानकारी सामने आई है। सूत्रों के अनुसार बीएसएफ के जवान तेज बहादुर का करियर विवादों में रहा है, 20 साल की सेवा में 4 बार कड़ी सजा मिल चुकी है। उस पर अपने कमांडेंट पर बंदूक ताने तक का संगीन आरोप लग चुका है। बीएसएफ की ओर से प्रेस विज्ञप्ति जारी की गई है, इसमें बताया गया है कि शुरुआती दिनों में तेज बहादुर को नियमित काउंसलिंग की जरूरत पड़ी थी. वह बिना बताए ड्यूटी पर अनुपस्थित भी रहता था।