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शिक्षा और स्वास्थ्य को समर्पित है गोरक्षनाथ पीठ

Uttar Pradesh.गोरखपुर, 19 मार्च (हि.स.)। गोरक्षनाथ पीठ की सामाजिक पैठ काफी गहराई तक है। पीठ के हर एक महंत ने इस जड़ को और गहराई तक आरोपित करने का प्रयास किया। सामाजिक समारसता को बनाने का प्रयास किया। इसके पूछे महन्तों के त्याग की परिपाटी चली आ रही है। पीठ द्वारा संचालित शैक्षणिक गतिविधियां भी कम नहीं हैं।

बता दें कि मंदिर परिसर में ही गोरक्षनाथ संस्कृत विद्यापीठ है। विद्यार्थियों के लिए नि:शुल्क आवास, भोजन व अध्ययन की व्यवस्था है। इतना ही नहीं इनके स्वास्थ्य आदि की चिंता भी मठ ही करता है।
गोरखनाथ मंदिर की ओर से एक आयुर्वेद महाविद्यालय व धर्मार्थ चिकित्सालय की स्थापना की गयी है। यहाँ क्षेत्र के गरीबो को काफी कम शुल्क पर स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया हैं। आलम यह है कि गरीब के घर जब कोई बड़ी बीमारी दस्तक देती है, तो उन्हें योगी के अस्पताल के

अलावा कुछ भी दिखता। वे सीधे गोरक्षनाथ हॉस्पिटल आते हैं और मरीज को भर्ती कराते हैं। उन्हें इस बात की फ़िक्र कभी नहीं रहती है कि धन की कमी आने पर उन्हें सहूलियत मिलेगी या नहीं।

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गोरक्षनाथ मंदिर ने शैक्षणिक गतिविधियां भी चला रखी हैं। यही वजह है कि दिन पर दिन मंदिर के प्रति लोगो की आस्था बढती जा रही है। मंदिर प्रशासन ने ‘महाराणा प्रताप शिक्षा परिषद्’ की स्थापना कर क्षेत्र में शिक्षा की ज्योति जलाई है। परिषद् की ओर से बालकों का छात्रावास और स्कूल बनाये गए है। बालक छात्रावास प्रताप आश्रम, मीराबाई महिला छात्रावास के अलावा शैक्षणिक संस्थानों में महाराणा प्रताप इण्टर कालेज, महंत दिग्विजयनाथ स्नातकोत्तर महाविद्यालय, महाराणा प्रताप शिशु शिक्षा विहार आदि दो दर्जन से अधिक शिक्षण-प्रशिक्षण और प्राविधिक संस्थाएं स्थापित की गयी हैं। इनमे से कुछ संस्थाएं गोरखपुर नगर जिला के अलावा महराजगंज में भी स्थापित हैं।

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