राष्ट्रीय विकास के लिये शिक्षा सबसे सशक्त माध्यम: संजय सिन्हा
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इलाहाबाद, 30 जनवरी = भारत को सम्पन्न राष्ट्र बनाने के लिये आवश्यक होगा कि यहां के नागरिकों का आर्थिक विकास के साथ-साथ मानसिक विकास भी किया जाय। इस दिशा में शिक्षा सबसे सशक्त माध्यम है।
उक्त विचार राज्य शैक्षिक प्रबन्धन एवं प्रशिक्षण संस्थान (सीमैट) उ.प्र निदेशक संजय सिन्हा ने कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों के वार्डनों के सुरक्षा एवं संरक्षा विषयक प्रशिक्षण के आठवें चक्र के उद्घाटन अवसर पर व्यक्त किया। उन्होंने आगे कहा कि बच्चों की क्षमताओं तथा मानसिक स्तर में वृद्धि के लिये शिक्षा एक उपयोगी साधन है जो गहन विचार तथा व्यवस्थित ढंग से लक्ष्य प्राप्ति के लिये प्रेरित करता है। इससे न केवल बच्चों में चुनौतियों का सामना करने की क्षमता में वृद्धि होती है बल्कि व्यक्ति निर्माण में भी सहायक होता है। ऐसे में बच्चों में शिक्षा के प्रति रूझान विकसित करना सम्बन्धित अध्यापकों का उत्तरदायित्व है।
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श्री सिन्हा ने कहा कि आवासीय विद्यालय, शिक्षा प्रदान करने में विशेष रूप से सहायक सिद्ध हो सकते है। यहां बच्चों को आपस में चर्चा करने तथा अध्यापकों से सहायता प्राप्त करने का अतरिक्त अवसर होता है जिससे वे अपनी विषयगत कठिनाईयों को हल कर सकते हैं। प्रशिक्षण कार्यक्रम का समन्वयन तथा संचालन प्रभात मिश्रा ने किया एवं उद्घाटन सत्र में संस्थान के डा. अमित खन्ना एवं प्रवक्ता वित्त पवन सावंत ने भी अपने विचार रखे।