राम मंदिर आंदोलन में तोगड़िया का कोई योगदान नहींः विहिप
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नई दिल्ली (ईएमएस)। विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) छोड़ने के बाद से संगठन के पूर्व प्रमुख प्रवीण भाई तोगड़िया प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमलावर हैं और उन्होंने मंगलवार से अनशन करने का ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि हिंदुओं की लंबित मांगों के लिए मंगलवार से मैं अनिश्चितकालीन अनशन करूँगा। विहिप ने कहा कि जिस व्यक्ति के मधुमेह का स्तर बहुत ज्यादा हो उसके लिए 24 घंटे से ज्यादा भूखा रह पाना मुश्किल है ऐसे में अगर तबियत बिगड़ी तो उन्हें अस्पताल में भर्ती कराना होगा। जब हिंदुओं के लिए वह संगठन में रहते हुए नहीं लड़े तो अब क्या लड़ेंगे।
विहिप के वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा कि तोगड़िया लंबे समय से संगठन को नुकसान पहुँचा रहे थे। स्वर्गीय अशोक सिंघल भी तोगड़िया के कई फैसलों का विरोध करते थे लेकिन वह मनमानी पर उतारू रहते थे। उन्होंने कहा कि तोगड़िया को यह बात समझनी चाहिए थी कि जिस संगठन में रह रहे हैं उसका या उसके किसी आनुषांगिक संगठन का खुलकर विरोध करना उचित नहीं है। ”विहिप में रहते हुए तोगड़िया जिस तरह मोदी सरकार के खिलाफ हमलावर रहते थे उससे सही संदेश नहीं जा रहा था। उन्होंने कहा कि तोगड़िया यहीं नहीं रुके वह संघ के खिलाफ भी बोलने लगे थे।
विहिप पदाधिकारी ने कहा कि रामजन्मभूमि आंदोलन में तोगड़िया का कोई योगदान नहीं रहा और जिन्होंने इस आंदोलन में प्रमुख भूमिका निभाई तोगड़िया उन लोगों को पूछते तक नहीं थे। तोगड़िया को लेकर संत समाज भी नाराज था और वह संगठन के पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं का विश्वास खो चुके थे। उन्होंने कहा कि जिस संगठन में सर्वसम्मति से अध्यक्ष का चुनाव हो जाता था उसमें अगर चुनाव की नौबत आई तो उसके लिए तोगड़िया ही जिम्मेदार हैं क्योंकि उन्होंने मतदाता सूची को लेकर अविश्वास सार्वजनिक रूप से प्रकट किया था। विहिप पदाधिकारी ने कहा कि तोगड़िया खुद संगठन से अलग हुए हैं, संगठन ने उन्हें नहीं निकाला। यदि वह समझते हैं कि अकेले सब कुछ कर लेंगे तो उन्हें उन लोगों का उदाहरण देख लेना चाहिए जो संघ परिवार को छोड़कर गये और आज कहां हैं।