पैसा नहीं देने पर उज्ज्वला लाभार्थियों से छीना जा रहा गैस सिलेंडर !
गोरखपुर, 25 अक्टूबर (हि.स.)। केन्द्र सरकार ने गरीबों की सुविधाओं के लिए उज्ज्वला योजना लागू की है। योजना का लाभ पाए गरीबों के चेहरे खिल गये थे, लेकिन अब इस पर सरकार के अंग में रूप में काम कर रही गैस एजेंसियों की ही नजर लग गयी है। पैसे के अभाव में गैस न भरवा पाने वालों से इनके सिलेंडर छीन रहे हैं। आलम यह है कि गैस एजेंसी मालिक अपने कारिंदों से ही सिलेंडर छिनवा रहे हैं। एजेंसियों की जारी इस कारगुजारी से सवाल उठता है कि सरकार अपनी उस मंशा को कैसे पूरा करेगी कि धुआं मुक्त चूल्हा हो और हर गरीब की आंखें सलामत रहें? फिलहाल, कोई भी जिम्मेदार अपना मुंह खोलने को तैयार नहीं है।
आर्थिक-सामाजिक गणना 2011 के आधार पर गरीबों को चिन्हित कर दिया जाने वाला उज्ज्वला कनेक्शन गरीबों के गले की हड्डी हो गयी है। सेक डेटा सूची के आधार पर 16 अंकों के आईडी नम्बर पर मिले उज्ज्वला गैस कनेक्शन के सिलेंडर को छीना जाने लगा है। मामला कसया तहसील व रामकोला विकासखंड से जुड़े गांवों का है। ऐसा होने से धनौजी खास, अमवा बाजार, रामबर बुजुर्ग, कठघरहीं, सिधावें आदि गांवों के गरीबों के चूल्हों पर संकट छा गया है।
रामकोला विकासखंड के दो गांवों के पीड़ितों ने अपनी व्यथा बतायी। धनौजी खास की मीना पत्नी गोविन्द व अमवां गांव की सीमा पत्नी बृजेश, तैरुन नेशा पत्नी समीउल्लाह और त्रिवेणी पत्नी कावेली से गैस सिलेंडर छीना जा चुका है। पीड़ित गरीब परिवार यह नहीं समझ पा रहा है कि सरकार ने गैस सिलेंडर देने के बाद ऐसा क्यों किया? आखिर ऐसी कौन सी वजह है या प्रमाण स्वरूप कागजात है, जो इन गरीबों द्वारा नहीं दिया गया है?
कठघरहीं की नर्वदा पुत्र श्रीराम और रामबर बुजुर्ग की जोन्हिया पत्नी चिरकुट भी चिंता में हैं। उन्हें सरकार पर भरोसा तो है लेकिन शंका भी खाए जा रही है। इन्हें यह नहीं मालूम कि गैस कनेक्शन दिलवाने वाली सरकार ने इसे छिनवाना क्यों शुरू कर दिया है?
उज्ज्वला योजना का लाभ से वंचित हुए इन पीड़ितों का कहना है कि इस जन-कल्याणकारी योजना पर कम्पनियों की नजर लगने से एजेंसी पर जाने से गरीब उपभोक्ता कतार रहे हैं। यदि कोई उपभोक्ता गैस एजेंसी पर पहुंच जा रहा है तो एजेंसी वाले उसका सिलिंडर छीन रहे हैं। गैस एजेंसियों के इस व्यवहार के चलते लाभार्थी अपने खाली सिलेंडर एजेंसी के बजाय ब्लैक में भरवाने को विवश हैं।
इस सम्बन्ध में कसया के एसडीएम श्रीप्रकाश शुक्ल का कहना है कि ’’मामला संज्ञान में नहीं है। न ही कोई शिकायत मिली है। अगर शिकायत मिलेगी तो मामले की जांच होगी। दोषियों पर कार्रवाई भी होगी।’’