केंद्र ने आखिरकार माना अर्थव्यवस्था वेंटिलेटर पर : कांग्रेस
नई दिल्ली, 25 अक्टूबर (हि.स.)। कांग्रेस ने आज कहा कि केंद्र ने आखिरकार अब मान लिया है कि देश की अर्थव्यवस्था बुरी तरह चरमरा गई है। इसलिए वित्तमंत्री अरुण जेटली को मंगलवार को इतने सारे ऐलान करने पड़े। कांग्रेस के अनुसार वित्तमंत्री ने देश को केवल काल्पनिक बातें कही है, जो वास्तविकता के धरातल पर कहीं नहीं ठहरती। नोटबंदी के चलते मुख्यतः किसान, मजदूर को नुकसान हुआ है। असंगठित क्षेत्र में 33 प्रतिशत रोजगार में कमी आई है। कांग्रेस के राज्यसभा में उपनेता आनंद शर्मा ने बुधवार को संवाददाता सम्मेलन के दौरान यह बात कही। शर्मा ने कहा, ‘वित्तमंत्री को कोई भी बात जिम्मेदारी के साथ बोलनी चाहिए।
उन्होंने अर्थव्यस्था को मजबूत बताया जो कि सरासर गलत है। बैंकों ने कृषि क्षेत्र में जो कर्ज दिया है वो अब तक का सबसे कम है। शर्मा ने आरोप लगाया कि नए उद्योग 0 से भी नीचे स्तर पर चला गया है। निर्यात जो यूपीए ने 323 पर छोड़ा था जिसमे हर साल 18 प्रतिशत बढ़त थी। जो कि 475 या 490 बिलियन डॉलर होनी चाहिए थी। वो भी पूरी तरह से चरमरा गई है। शर्मा ने बताया कि निर्यात आज की तारीख में 262 बिलियन है। ये हर साल करीब 4 लाख करोड़ का नुकसान है। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि ये दुनिया की सबसे तेज़ी से बढ़ती अर्थव्यवस्था का हाल है। शर्मा ने कहा, ‘आज पेट्रोलियम पदार्थों की कीमत देश में चरम पर है।
मोदी सरकार ने 2 करोड़ रोजगार देने की बात की वो आज केवल 7 लाख पर अटक गई है। सरकार आज वेंटिलेटर पर ग्लूकोज की बोतल ढूंढ रही है। इसका नतीजा है कि हर साल बैंक 9 लाख करोड़ का घाटा झेल रहे हैं। शर्मा ने केंद्र के 7 लाख करोड़ हाईवे प्रोजेक्ट को पुराना बताते हुए कहा कि ये पहले से है, नया कुछ नहीं है। साथ ही उन्होंने सरकार द्वारा जारी बांड पर सवाल उठाये। शर्मा ने सवाल किया कि सरकार स्पष्ट करे कि ये कौन भरेगा सरकार या एनएचए? आनंद शर्मा ने कहा, ‘मैं भारत का वाणिज्य मंत्री, उद्योग मंत्री और व्यापार मंत्री रह चुका हूं। मैं अपने अनुभव से कहता हूं कि देश गर्त में जा रहा है।’