औरेया जा रहे अखिलेश को उन्नाव में एक्सप्रेस वे पर पुलिस ने किया गिरफ्तार
कानपुर, 17 अगस्त : समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने औरेया पहुंचने के लिए पुलिस को खूब चकमा दिया पर पुलिस के आगे उनकी एक न चली। इसके चलते पुलिस ने उन्नाव के हसनगंज टोल प्लाजा के पास नाकाबंदी कर गिरफ्तार कर लिया।
औरेया जिला पंचायत अध्यक्ष के नामांकन के दौरान हुए बवाल के बाद कानपुर से सपा के प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल, विधायक अमिताभ बाजपेयी सहित सैकड़ों सपाई औरेया के लिए रवाना हुए, जिनको औरेया बार्डर पर चौबेपुर में गिरफ्तार कर लिया गया।
इसके बाद पुलिस को सूचना मिल रही थी कि पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव भी कानपुर के रास्ते से औरेया पहुंच रहे हैं। पुलिस ने कानपुर के सभी बार्डरों पर घेराबंदी कर दी। अखिलेश यादव ने चकमा देने के लिए पहले एक काफिला लखनऊ कानपुर हाइवे पर कानपुर के लिए रवाना किया, जो पुलिस को परेशान करता हुए कानपुर के जाजमऊ पहुंचा। वहां पर पीछा करते हुए पुलिस ने रोका तो पता चला कि इस काफिले में अखिलेश यादव नहीं है।
इस बीच पुलिस को पता चला कि अखिलेश यादव का दूसरा काफिला एक्सप्रेस वे से जा रहा है। इसकी जानकारी होते ही पुलिस फोर्स एक्सप्रेस वे की ओर दौड़ी और हसनगंज टोल प्लाजा के पास नाकाबंदी कर दी। सैकड़ों गाड़ियों का काफिला पहुंचते ही उसमें शामिल पार्टी के कार्यकर्ता और नेता पुलिस के बंदोबस्त को तोड़ आगे बढ़े, लेकिन पुलिस ने पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को अपने घेरे में ले लिया। नेताओं की तनातनी के बीच पुलिस ने गिरफ्तारी का ऐलान करके नेताओं को घेर लिया। अखिलेश यादव के साथ करीब 35 गाड़ियों में सवार सपा कार्यकर्ताओं और नेताओं को अपने सुरक्षा घेरे में लेकर पुलिस धौरा कृषि केंद्र पर ले जा गई। वहां पूर्व मुख्यमंत्री के साथ बाकी सपा नेताओं के रखने के लिए अस्थाई जेल बनाई गई।
कानपुर में थी हिरासत में लेने की तैयारी
पूर्व मुख्यमंत्री तथा समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव को पहले कानपुर में हिरासत में लेने की तैयारी थी। कानपुर के बिल्हौर से पहले सपा प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम, महानगर अध्यक्ष फजल महमूद, सपा विधायक अमिताभ बाजपेयी समेत बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं गिरफ्तार कर लिया। इनको कानपुर पुलिस लाइन लाया गया।
जिला पंचायत अध्यक्ष के चुनाव से जुड़ा है पूरा मामला
औरैया में जिला पंचायत अध्यक्ष पद के चुनाव के नामांकन के दौरान मंगलवार को पुलिस व समाजवादी पार्टी के समर्थकों के बीच तीखी झड़प हो गई। भाजपा के विधायक की गाड़ी के मुख्यालय में घुसने को लेकर बवाल हुआ। पुलिस ने आंसू गैस के गोले दागे। ककोर में जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए भाजपा से दीपू सिंह और समाजवादी पार्टी से सुधीर यादव उर्फ कल्लू सिंह का नामांकन होना था। दीपू सिंह का नामांकन जैसे ही सम्पन्न हुआ सपा कार्यकर्ताओं ने पुलिस पर भाजपा वालों का साथ देने का आरोप लगाते हुए हंगामा शुरू कर दिया।
मामला इतना बढ़ गया कि उग्र सपा कार्यकर्ता पुलिस से भिड़ गए। आगजनी और पथराव के बीच पुलिस ने हालात नियंत्रित करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे जिसके बाद पुलिस ने पूर्व सांसद प्रदीप यादव को गिरफ्तार कर लिया। बुधवार को अखिलेश यादव प्रदीप यादव से मिलने औरेया जाने के लिए निकले थे।